जान जोखिम में डालकर विधालय पहुँचते हैं शिक्षक शिक्षिका

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सहरसा । कहते हैं शिक्षक के गोद में प्रलय और निर्माण खेलता है, लेकिन जब शिक्षक ही प्रलय का शिकार हो जाय तो आखिर क्या होगा। दरअशल आज शिक्षक दिवस है और और शिक्षक के पद को धारण करते हुए, आगे चलकर डॉक्टर सर्वपल्ली राधाकृष्णन देश के राष्ट्रपति बने। उनके जन्म दिवस पर प्रत्येक वर्ष शिक्षक दिवस मनाया जाता है। लेकिन बिहार में शिक्षा विभाग की कमान जब तक बिहार के अपर सचिव के के पाठक के हाथ मे रहा। शिक्षक बच्चों के निर्माण में खुद को प्रलय के शिकार की दल- दल और जान जोखिम में डालकर विद्यालय पहुँच रहे है। जहाँ बाढ़ के समय कोशी तटबंध के अंदर विद्यालय में जाने के लिए शिक्षकों को एक- दो नही बल्कि तीन नदी पार करके विद्यालय जाना पड़ता है। सरकार ने आदेश जारी किया है कि सभी शिक्षक ई शिक्षा एप्प पर ऑन लाइन अपना एटेंडेंस बनाएंगे। लेकिन जब कोशी की दल दल से शिक्षक विद्यालय पहुचेगें तब तो ऑन लाइन एटेंडेंस बनायेगें।

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