44 साल पुरानी वाद में हुई सज़ा

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औरंगाबाद । व्यवहार न्यायालय औरंगाबाद में एडिजे – पांच उमेश प्रसाद ने बारूण थाना कांड संख्या -01/1981,एस. टी.आर-137/97 में सज़ा के बिन्दु पर सुनवाई करते हुए एकमात्र जीवित अभियुक्त बिरजू यादव सीतारामपुर बारूण को भादंवि धारा 395 में दोषी पाते हुए सात साल की सजा, और पच्चीस हजार रुपए जुर्माना लगाया है। जुर्माना न देने पर एक साल अतिरिक्त कारावास होगी। अधिवक्ता सतीश कुमार स्नेही ने बताया कि प्राथमिकी सूचक केशव महतो बारूण ने प्राथमिकी में बताया कि दिनांक 31/12/80 को गांव में भीषण डकैती हुई थी, जिसमें केशव महतो के भाई गनौरी महतो बुरी तरह से घायल हो गए थे। डकैती में गांव के गजाधर महतो और रामाधार महतो की मृत्यु हो गई थी, किन्तु उनका पोस्टमार्टम रिपोर्ट समर्पित नहीं किया गया था और न ही डाक्टर की गवाही हो पाई थी। इस वाद में प्राथमिकी 14 अभियुक्तों पर की गई थी। जिसमें 07 अभियुक्तों पर ट्राइल चल रहा था, जिसमें से 06 अभियुक्तों की मृत्यु हो चुकी है और आज एक मात्र अभियुक्त को भादंवि धारा-395 में सज़ा सुना कर जेल भेज दिया गया है।

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